कार्यस्थल पर महिलाओं का यौन उत्पीड़न (रोकथाम, निषेध एवं समाधान) अधिनियम

  • Usha Sharma Assistant Professor, S.S. Jain Subodh Mahila Shikshak Prashikshan Mahavidyalaya, Sanganer, Jaipur, Rajasthan, India.

Abstract

यह शोध पत्र भारतीय समाज में महिलाओं की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डालता है, जिसमें वे माँ, बहन, बेटी और पत्नी के रूप में अपनी भूमिका निभाती हैं, और कैसे इन भूमिकाओं ने ऐतिहासिक रूप से समाजिक समरसता में योगदान दिया है। विभिन्न सांस्कृतिक और धार्मिक ग्रंथों में महिलाओं को पूजनीय दर्जा दिया गया है, लेकिन फिर भी लिंग भेदभाव और उनके योगदान की उपेक्षा की समस्याएँ बनी हुई हैं। महिलाओं को लक्ष्मी, सरस्वती और दुर्गा जैसी देवियों के रूप में सम्मानित किया गया है, जो क्रमशः समृद्धि, ज्ञान और शक्ति का प्रतीक हैं। प्राचीन भारतीय समाज में, पुरुषों और महिलाओं दोनों को समान सम्मान दिया जाता था, और महिलाएं शैक्षिक, धार्मिक और सांस्कृतिक क्षेत्रों में सक्रिय रूप से भाग लेती थीं। हालाँकि, समय के साथ समाजिक मानदंडों में बदलाव आया, जिससे उनकी स्थिति में गिरावट आई।



  • यह शोध पत्र लिंग भेदभाव के विभिन्न पहलुओं को संबोधित करता है, विशेष रूप से कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न की व्यापक समस्या पर ध्यान केंद्रित करता है। इसमें उत्पीड़न के विभिन्न रूपों—शारीरिक, मानसिक, मौखिक, आर्थिक, यौन, सामाजिक, सांस्कृतिक और पारिवारिक—और उनके महिलाओं के पेशेवर और व्यक्तिगत जीवन पर गहरे प्रभाव का विश्लेषण किया गया है। यह शोध भारत में कार्यस्थल पर उत्पीड़न से निपटने के लिए स्थापित कानूनी ढांचे, विशेष रूप से महिलाओं का यौन उत्पीड़न (रोकथाम, निषेध और निवारण) अधिनियम, 2013, को प्रमुखता से उजागर करता है। इसमें नियोक्ताओं की जिम्मेदारियों और उत्पीड़न को रोकने और संबोधित करने के लिए स्थापित तंत्र पर जोर दिया गया है।

  • अध्ययन एक सुरक्षित और सम्मानजनक कार्य वातावरण बनाने में जागरूकता और सक्रिय उपायों के महत्व को रेखांकित करता है। यह व्यापक प्रशिक्षण कार्यक्रमों, नीतियों के प्रभावी कार्यान्वयन और लिंग समानता की दिशा में संगठनों के दृष्टिकोण में सांस्कृतिक परिवर्तन की वकालत करता है। अंतिम लक्ष्य यह सुनिश्चित करना है कि महिलाएं उत्पीड़न के भय के बिना काम कर सकें, जिससे वे समाज और अर्थव्यवस्था में पूर्ण योगदान दे सकें। यह शोध पत्र सभी क्षेत्रों में महिलाओं की गरिमा और समानता बनाए रखने के लिए निरंतर प्रयासों की मांग करता है।

Published
2024-06-30
How to Cite
SHARMA, Usha. कार्यस्थल पर महिलाओं का यौन उत्पीड़न (रोकथाम, निषेध एवं समाधान) अधिनियम. Anusanadhan: A Multidisciplinary International Journal (In Hindi), [S.l.], v. 9, n. 1&2, p. 22-26, june 2024. ISSN 2456-0510. Available at: <http://thejournalshouse.com/index.php/Anusandhan-Hindi-IntlJournal/article/view/1277>. Date accessed: 04 mar. 2025.